विधि- प्रतिदिन प्रात: काल स्नान करके शुद्ध वस्त्र धारण करें तथा मन को एकाग्र करके उन्नीसवाँ काव्य, ऋद्धि तथा मन्त्र का एक सौ आठ बार स्मरण करना चाहिए।
ऋद्धि मंत्र - ॐ ह्रीँ अर्हँ णमो...
सिद्धि मंत्र – ॐ ह्रां ह्रीँ ह्रूं ह्र: य क्ष ह्रीँ...
Metal = Copper
Size = 4×4 Inches
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